स्वभाव: ज्येष्ठा नक्षत्र में जन्मे जातक जिम्मेदार,कर्तव्यनिष्ठ,मानसिक रूप से अशांत,जल्द ही बूढ़ा होने वाला ,धार्मिक तथा ज्ञानी प्रवृत्ति का होता है। ऐसा जातक ऊंच नीच का भेद भाव नहीं करता। कुछ विद्वानों के अनुसार इस नक्षत्र में जन्मे जातक संतोषी,कुशल वक्ता, कामी तथा क्रोधी स्वभाव के होते हैं।
कैरियर: ज्येष्ठा नक्षत्र में जन्मे जातक प्रबंधक,व्यवस्थापक,कलाकार,
अभिनेता,सरकारी कर्मचारी, शल्य चिकित्सक, जलयान सेवा,नेवी,
नेता,कथावाचक,सुरक्षा अधिकारी,सेना से जुड़े कार्य आदि में कैरियर बनाकर सफलता अर्जित करता है।
रोग: ज्येष्ठा नक्षत्र में जन्मा जातक को जोड़ो के दर्द, सर दर्द,गर्दन से संबंधित परेशानी,वात और कफ संबंधित रोग,दस्त,दमा आदि रोगों से परेशान रहता है।
उपाय: इस नक्षत्र के लोगो को भगवान विष्णु की उपासना करना अत्यंत लाभप्रद होता है। ॐ विष्णुवें नमः मंत्र का जाप 1 माला करने से सभी प्रकार की मनोकामना पूर्ण होती है।नीला,आसमानी,
लाल, काला या हरे रंग का उपयोग इनके लिए भाग्यशाली होता है।
ज्योतिषाचार्य पंडित योगेश पौराणिक(इंजी)
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